Posts

Showing posts from January, 2022

"Abide with me" से "अ मेरे वतन के लोगों"

Image
देश में गणतंत्र दिवस हर वर्ष 26 जनवरी को मनाया जाता है, ये तो सभी को पता है लेकिन क्या आप जानते है हर वर्ष मनाए जाने वाले गणतंत्र दिवस पर आप भारत के किसी गाने की धुन की बजाय स्कॉटलैंड की धुन सुनते है। जिसका नाम है "Abide with me" जिसका अर्थ है "हे प्रभु! तुम मेरे साथ रहो( दो)"और इस बीटिंग रिट्रीट को अब केंद्र सरकार ने हटाकर देशभक्ति और देशप्रेम का गाना जिसे शायद सभी भारतीयों ने सुना होगा "अ मेरे वतन के लोगों को" बीटिंग रिट्रीट में शामिल किया है।  वहीं इस स्कॉटलैंड धुन को "गांधी जी" की पंसदीदा धुन होने की वजह से बीटिंग रिट्रीट में शामिल होने की बात भी कहीं जाती थी।लेकिन Zee news के संपादक "सुधीर चौधरी" ने अपने शो DNA के माध्यम से बताया कि कहीं भी पुराने दस्तावेजों या पुस्तकों में इस बात का जिक्र नहीं कि ये "महात्मा गांधी की पसंदीदा धुन थी।उन्होनें इस धुन को सुना जरूर था लेकिन ये उनकी पसंदीदा धुन नहीं थी लेकिन उनकी मृत्यु के बाद ऐसा कहा जाने लगा की ये उनकी पसंदीदा धुन थी और इसे गणतंत्र दिवस पर बजाया जाने लगा था।

सिक्का और आदमी...

Image
एक सिक्के के दो पहलू होते है और सबने जीवन में बहुत बार सुना भी होगा।वैसे ही इंसान के भी दो पहलू होते है।एक वो जो आपको दिखाई देता है,आपके साथ या दूसरों के साथ जो व्यवहार होता है अथवा जो वो आपको दिखाते है या दिखाना चाहते है।लेकिन इसके उलट एक सिक्के की भांति एक दूसरा पहलू भी होता हैं और उससे आप अनभिज्ञ होते है या वो आपको कभी या अचानक या ये भी हो सकता है कि किसी कारणवश या किसी परिस्थिति में आपको दिख जाए। शायद तब आश्चर्य होगा या फिर नहीं भी। लेकिन यह कोई नई बात नहीं है जरूरी नहीं जो इंसान जैसा दिखता है वैसा हो या फिर हो सकता है आप उसे जैसा देखते है असल में वो वैसा ना हो या फिर आपको ही कुछ गलत लगा हो या वो हर परिस्थिति के अनुसार खुद को ढाल लेता या बदल लेता हो।ये शायद हम,हमारा करीबी,सगे-संबंधी या खुद भी होते है तो दूसरों का तो हम खुद भी अंदाजा लगा सकते है। जैसे अगर कोई अधिकारी अपने परिवार के साथ अलग है लेकिन वहीं किसी भी विषय से जुड़ा अधिकारी अपने काम के समय (अपने पेशे में) अलग होता है।वहीं एक लुटेरा दूसरों को लूट सकता है लेकिन घरवालों को नहीं। इसीलिए किसी का सिक्का होना परिस्थिति की मांग या ...